December 11, 2025
# Tags
#Chief minister #Analytics #Basketball #Candidates #Cheese #Cricket #Dehradun #Dinner #DM #Education #Election #Events #Fashion #Food #Football #Ganga #Haridwar #Indian army #Lifestyle #People #Plane crash #PM yojana #Police #politics #Proceeding #Recipes #RERA #Roorkee #Rugby #Sadhu sant #School #Space #Sports #Stricks #Swiming #Tech news #Tennis #travel #world #Yatra #कलियर #कार्यवाही #खनन #पुलिस #पॉयलेट बाबा आश्रम #प्रशाशन #बिज़नेस #भाजपा #रानीपुर विधानसभा #श्रधांजलि #सुरक्षा

श्यामपुर ब्रह्मा मंदिर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का शताब्दी वर्ष व विजयादशमी उत्सव

ब्रह्मदेव मंदिर में गूंजी राष्ट्रभक्ति की ध्वनि, संघ के प्रयासों से क्षेत्र में जागी एकता और समरसता की लहर

हरिद्वार,देवभूमि के श्यामपुर क्षेत्र में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) का शताब्दी वर्ष एवं विजयादशमी उत्सव ब्रह्मदेव मंदिर के पवित्र प्रांगण में बड़े उत्साह और अनुशासन के साथ संपन्न हुआ। यह आयोजन केवल एक उत्सव नहीं बल्कि सनातन संस्कार, राष्ट्रीय भावना और सामाजिक एकता का सशक्त प्रतीक बन गया।

मुख्य बौद्धिक वक्ता प्रसाद जी, प्रधानाचार्य — सरस्वती शिशु मंदिर, गैंदीखाता, ने कहा कि संघ का यह शताब्दी वर्ष देश को “एकात्म भाव” और “संगठित समाज” के आदर्श पर पुनः स्थापित करने का अवसर है। उन्होंने कहा — “राष्ट्र की सेवा केवल सीमाओं पर नहीं, बल्कि समाज के हर कोने में समर्पण से की जाती है, यही संघ का मूल संदेश है।”

कार्यक्रम में खंड कार्यवाह कृष्णा गुप्ता, खंड शारीरिक प्रमुख रोहित, खंड बौद्धिक प्रमुख कृष्णा उपाध्याय, मंडल कार्यवाह सुशील जी, राकेश जी, विजेंद्र जी, सुरेंद्र जी और अनिल जी सहित बड़ी संख्या में स्वयंसेवक शामिल रहे।

ब्रह्मदेव मंदिर के महंत राकेश शर्मा जी ने अपने आशीर्वचन में कहा — “संघ की शाखाएँ समाज में धर्म, अनुशासन और देशप्रेम की नींव मजबूत कर रही हैं। जिस दिन हर गाँव में एक शाखा होगी, उस दिन भारत पुनः विश्वगुरु बनेगा।”

स्थानीय नागरिकों ने भी इस आयोजन पर गहरी संतुष्टि व्यक्त की। क्षेत्रवासी श्यामपुर, गैंदीखाता और कांगड़ी नगरी में संघ की गतिविधियों को समाजिक जागरण का माध्यम मान रहे हैं। उनका कहना है कि संघ के स्वयंसेवक शिक्षा, पर्यावरण, सेवा और संस्कार के क्षेत्र में अदृश्य रूप से कार्य कर रहे हैं — यही सच्ची राष्ट्रसेवा है।

कार्यक्रम के अंत में स्वयंसेवकों द्वारा शाखा प्रदर्शन, गीत, व्यायाम और प्रार्थना प्रस्तुत की गई। बच्चे और युवा पारंपरिक गणवेश में ‘भारत माता की जय’ के उद्घोष के साथ ब्रह्मदेव मंदिर के प्रांगण में वातावरण को राष्ट्रभक्ति से भरते रहे।

समीपवर्ती क्षेत्रों — लालढांग, श्यामपुर, गैंदीखाता और कांगड़ी — में भी संघ की शाखाओं द्वारा शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में कई कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं, जिनमें सेवा बस्तियों में शिक्षा कार्य, वृक्षारोपण, रक्तदान शिविर और नारी शक्ति संगम जैसे आयोजन प्रमुख हैं।

इस उत्सव ने यह स्पष्ट किया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ केवल संगठन नहीं, बल्कि एक जीवंत चेतना है — जो राष्ट्र के प्रति समर्पण, सेवा और संस्कार का सजीव उदाहरण है।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *